Bahraich Violence: बहराइच में हिंसा के बाद आखिर मुस्लिम परिवारों ने क्यों छोड़े अपने घर?

बहराइच:

13 अक्टूबर...येवो तारीख हैजब बहराइच में दुर्गा प्रतिमा विसर्जन यात्रा के दौरान दो समुदायों में जबरदस्त बवाल हुआ. डीजे को लेकर शुरू हुआ विवाद इतना बढ़ा कि बात गोलीबारी तक पहुंच गई. इस हिंसा में एक 22 साल के युवक की मौत और कई लोग घायल हुए. तकरीबन 6 हजार की आबादी वाले महाराजगंज में 80 फीसदी घर मुसलमानों के हैं. रविवार की शाम करीब 6 बजे दुर्गा प्रतिमा विसर्जन के लिए निकले जुलूस में शामिल रामगोपाल मिश्रा को टारगेट किया गया. बहराइच में जिस राम गोपाल मिश्रा की गोली लगने से मौत हो गई है उसको लेकर दावा किया जा रहा है कि वो एक छत पर चढ़ एक धार्मिक झंडे को उतारकर अपना धार्मिक झंडा लगा रहा था और नीचे भीड़ उसे उकसा रही थी. ये जुलूस जब महराजगंज बाजार में समुदाय विशेष के मोहल्ले से गुजर रहा था तो दो पक्षों में कहासुनी हुई और इस दौरान छतों से पत्थर फेंके जाने लगे,जिससे विसर्जन में भगदड़ मच गई. जैसे ही हिंसा भड़की रामगोपाल को एक घर में ले जाकर मौत के घाट उतार दिया गया. रामगोपाल की मौत की खबर के बाद बहराइच में बवाल शुरू हो गया और जो प्रदर्शन कारी थे उन्होंने आरोपी समेत वहां कई वाहनों में तोड़फोड़ मचाई और आग लगा दी.

हिंसा के बाद अब कैसा माहौल?

अब हिंसा के बाद से महराजगंज इलाके में सन्नाटा पसरा हुआ है. लोग घरों में बंद हैं. मुस्लिम परिवारों ने घर छोड़ दिया है. कुछ घरों में लोग मौजूद है लेकिन बाहर से ताला लटका हुआ है तो वहीं कुछ घर ऐसे ही खुले पड़े हैं और घर में कोई भी नज़र नहीं आ रहा है. पुलिस ने जब जांच की तो आसपास के करीब ऐसे 20 गांव निकले,जिसमे उपद्रवियों की जानकारी मिली और पुलिस को लगता है कि इन्हीं लोगों ने इस हिंसा को अंजाम दिया और तोड़फोड़ मचाई. एक पीड़ित महिला ने रो-रो कर बताया कि कैसे उसके घर में घुसकर उपद्रवियों ने सामान में आग लगा दी और सब कुछ तहस नहस कर दिया.

कहां फरार है आरोपी?

आपको बता दें कि बहराइच हिंसा में गोलीकांड का मुख्य आरोपी अब्दुल हमीद और उसके दो लड़के नेपाल भाग गए हैं. हिंसा के मुख्य आरोपी अब्दुल हमीद के बड़े बेटे पिंटू की ससुराल नेपाल में है. वह वहां सोने-चांदी के आभूषणों का कारोबार करता है. बेटे की ससुराल होने की वजह से मुख्य आरोपी का नेपाल में रहना आसान है. बताया जाता है कि बड़ा बेटा पिंटू नेपाल में रहकर व्यापार करता था. अब्दुल हमीद की महराजगंज बाजार में बड़ी सोने के आभूषणों की बड़ी दुकान थी।. नेपाल से संबंध होने की वजह से परिवार ने कम समय मे खूब रुपया कमाया जिसकी वजह से अब ये मनबढ़ हो गए थे. गोलीकांड में मुख्य आरोपी की बात करें तो इसमें अब्दुल हमीद,उसके बेटे रिंकू उर्फ सरफराज और फहीम शामिल हैं.

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